Monday, July 28, 2008

मुझे पीपल देवता से बचाएं !


पीपल को बहुत ही पवित्र वृक्ष माना जाता है। कहते हैं कि इसे ब्रह्मा जी ने अपनी कठोर साधना के बल पर धरती पर उतारा था। इस वृक्ष का उपयोग आयुर्वेद में कई रोगों को दूर करनें में काम आता है। कहा जाता है कि इस वृक्ष की परिक्रमा करनें से ही मनोंकामना पूरी हो जाती है। लेकिन कुछ लोग मानते हैं कि इस पर देवताओं व भूतों-प्रेतों का भी वास होता है।

लेकिन यहाँ पर मैं आपको कुछ और ही बतानें जा रहा हूँ। संयोग कहिए या दुर्योग, इस पीपल नें हमारा साथ कभी नही छोड़ा। हम जहाँ भी जाते रहे हैं। यह पीपल देवता वहीं हमारी छत की शोभा बड़ानें प्रकट हो जाते हैं। कई बार इस से पीछा छुड़ानें के लिए इसे जड़ समेत उखाड़ फैंका, लेकिन पीपल देवता कुछ दिन अंतर्ध्यान रहनें के बाद फिर-फिर प्रकट हो जाते हैं। इसे हटा -हटा कर जब परेशान हो गए तो वह मकान ही बदल लिया।

आज से कुछ वर्ष पहले लिए मकान को जब हम देखनें आए तो सब से पहले हमनें छत पर जा कर देखा कि कहीं यहाँ पीपल देवता तो विराजमान नहीं हैं।जब हमें पूरी तरह विश्वास हो गया कि यहाँ वह कहीं भी नजर नहीं आ रहे तब हमनें उस घर को अपना निवास बनाया। लेकिन कुछ वर्षों बाद उस मकान की छत पर भी पीपल देवता प्रकट हो गए। अब तक हम उन्हें बीसीयॊं बार काट-काट कर थक चुके हैं। लेकिन वह वहाँ से हटनें का नाम नहीं ले रहे हैं। क्या आप के पास कोई उपाए है इस से बचनें का? कृपया पीपल देवता के सताए एक प्राणी की मदद करें!